tag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post4879900173436819446..comments2023-10-29T13:39:06.893+05:30Comments on कबाड़खाना: बिना ईश्वरAshok Pandehttp://www.blogger.com/profile/03581812032169531479noreply@blogger.comBlogger14125tag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-9978483207106271182008-11-28T08:55:00.000+05:302008-11-28T08:55:00.000+05:30ॐ शान्तिः।कोई शब्द नहीं हैं...।बस...।ॐ शान्तिः।<BR/><BR/>कोई शब्द नहीं हैं...।<BR/>बस...।सिद्धार्थ शंकर त्रिपाठीhttps://www.blogger.com/profile/04825484506335597800noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-1690915609378304582008-11-27T22:16:00.000+05:302008-11-27T22:16:00.000+05:30"जो पहुंचता है ऊपर ईश्वर के सिंहासन तक"भाई काश उनक..."जो पहुंचता है ऊपर ईश्वर के सिंहासन तक"<BR/><BR/>भाई काश उनकी वेदना बस आतंकियों और हमारे बहरे नेताओं तक पहुँच सकती।एस. बी. सिंहhttps://www.blogger.com/profile/09126898288010277632noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-13979487640740225332008-11-27T22:08:00.000+05:302008-11-27T22:08:00.000+05:30हमने ये कैसा समाज रच डाला है?हमने ये कैसा समाज रच डाला है?दीपा पाठकhttps://www.blogger.com/profile/12130328147834660274noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-76187192488744282632008-11-27T19:55:00.000+05:302008-11-27T19:55:00.000+05:30:(:(Abhishek Ojhahttps://www.blogger.com/profile/12513762898738044716noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-344688075503804772008-11-27T19:17:00.001+05:302008-11-27T19:17:00.001+05:30शायद इस बार सरकारी मशीनरी हरकत में आए? अमीन!शायद इस बार सरकारी मशीनरी हरकत में आए? अमीन!महेनhttps://www.blogger.com/profile/00474480414706649387noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-9164010850949420652008-11-27T19:17:00.000+05:302008-11-27T19:17:00.000+05:30शायद इस बार सरकारी मशीनरी हरकत में आए? अमीन!शायद इस बार सरकारी मशीनरी हरकत में आए? अमीन!महेनhttps://www.blogger.com/profile/00474480414706649387noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-13187970250088839272008-11-27T17:15:00.000+05:302008-11-27T17:15:00.000+05:30कत्ल हो गया हैईश्वर उन्हीं लोगों के हाथों पैदा किय...कत्ल हो गया है<BR/>ईश्वर <BR/>उन्हीं लोगों के हाथों <BR/>पैदा किया था <BR/>जिन्हों ने उसे <BR/>मायूस हैं अब <BR/>कि नष्ट हो गया है।<BR/>उनका सब से बढ़ा <BR/>औज़ारदिनेशराय द्विवेदीhttps://www.blogger.com/profile/00350808140545937113noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-2605964740363232082008-11-27T15:19:00.000+05:302008-11-27T15:19:00.000+05:30मनुष्य ने अपनी नैतिकता की रक्षा लिए ईश्वर रचे जो ध...मनुष्य ने अपनी नैतिकता की रक्षा लिए ईश्वर रचे जो धीरे-धीरे सुविधा में बदलते हुए अब एक औज़ार-एक हथियार में तब्दील हो चुके हैं और वक्त आ गया है जब हमें " बिना ईश्वर के उस घेरे के बारे में सोचना चाहिए, जो कहीं बड़ा और अनन्त है !"शिरीष कुमार मौर्यhttps://www.blogger.com/profile/05256525732884716039noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-43738524507494659112008-11-27T13:29:00.000+05:302008-11-27T13:29:00.000+05:30ऐसे ही समय मन कहता हैं की ईश्वर तुम कहाँ हो ?ऐसे ही समय मन कहता हैं की ईश्वर तुम कहाँ हो ?RADHIKAhttps://www.blogger.com/profile/00417975651003884913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-44087554147435191892008-11-27T11:44:00.000+05:302008-11-27T11:44:00.000+05:30अंतहीन पीड़ा को व्यक्त करती अनंत में फैली कविता।अंतहीन पीड़ा को व्यक्त करती अनंत में फैली कविता।ravindra vyashttps://www.blogger.com/profile/14064584813872136888noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-79785957961693376192008-11-27T10:39:00.000+05:302008-11-27T10:39:00.000+05:30अशोक भाई ... वाकई कल रात से बेहद परेशान हूँ ... चु...अशोक भाई ... वाकई कल रात से बेहद परेशान हूँ ... चुनाव के ठीक एक दिन पहले ... मालेगांव केस के एन बीच में ... क्या सच है ..कितना सच है..पता नही..लेकिन जो सबसे बड़ा सच है वो ये कि मानवविरोधी इन हरक़तों से घायल तो अंततः मानवता ही होती है.<BR/>सम्भव हो तो देखें कभी<BR/>www.asuvidha.blogspot.comAshok Kumar pandeyhttps://www.blogger.com/profile/12221654927695297650noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-54926255330632249272008-11-27T10:27:00.000+05:302008-11-27T10:27:00.000+05:30सरकार का बयान तो आने दीजिए। बजरंगियों के नाम एक और...सरकार का बयान तो आने दीजिए। बजरंगियों के नाम एक और कारनामा तो हो जाने दीजिए। "धर्मनिरपेक्ष" लोगों को आंसू तो बहाने दीजिए। उसके बाद ही आप कोई प्रतिक्रिया व्यक्त करें तो बेहतर होगा। क्या आतंकवादी भी यह कविता पढेंगे? क्या हम कविता पढ़कर और पढ़ाकर ही आतंकवाद रोक सकेंगे?Sanjeevhttps://www.blogger.com/profile/16613354300792808697noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-66620662648776205372008-11-27T10:21:00.000+05:302008-11-27T10:21:00.000+05:30इस कविता को पढ़वाने के लिये शुक्रिया!इस कविता को पढ़वाने के लिये शुक्रिया!अनूप शुक्लhttps://www.blogger.com/profile/07001026538357885879noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1273951886615878038.post-80506313952173798742008-11-27T10:04:00.000+05:302008-11-27T10:04:00.000+05:30यह कविता इस समय के सबसे बड़ी समस्या के बारे में सबक...यह कविता इस समय के सबसे बड़ी समस्या के बारे में सबकुछ कह जाती है। पढ़वाने के लिए धन्यवाद। <BR/>घुघूती बासूतीghughutibasutihttps://www.blogger.com/profile/06098260346298529829noreply@blogger.com