Tuesday, January 20, 2015

प्यार


प्यार

-अदूनिस

सड़क और घर प्यार करते हैं मुझे,
जीवितों और मृतकों
और घर की लाल मिट्टी से बनी सुराही
को प्यार करता है पानी.

मुझे प्यार करता है मेरा पड़ोसी
अनाज माड़ने के फर्श और आग को प्यार करता है खेत.

संसार से प्रसन्न होतीं, श्रम करती बाँहें प्यार करती हैं मुझे   
और प्रसन्न बनाती हैं.

मेरे भाई के चीथड़ा वस्त्र इधर उधर बिखरे हुए,
उसके झुकी छाती से फटकर अलग,
गेहूं की बालियों और मौसम से छिपा हुआ
एक कार्नेलियन जिससे दूर भागता है रक्त.

जब तक मैं जिंदा था, वह बना रहा प्यार का देवता.
अगर मैं भी चला गया, तो क्या करेगा प्यार?

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