शनैःशनैः होती जाती है जीवन से अब दूरआशिक जैसी विकट उसांसें वह सीटी भरपूर(वीरेन डंगवाल)
अच्छी फोटू , बढ़िया बोल ।
बहुत खूब! आलोक धन्वाजी की आवाज में यह कविता वीडियो मेरे ब्लॉग पर है। चाहें तो इसे अपने यहां लगा सकते हैं- लिंक ये रहा -http://hindini.com/fursatiya/archives/1745
धन्वा जी का विडियो लगाने से कविता का ये पेज समृद्ध हुआ है । शुक्ल जी को धन्यवाद , आपको भी धन्यवाद ।
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4 comments:
शनैःशनैः होती जाती है
जीवन से अब दूर
आशिक जैसी विकट उसांसें
वह सीटी भरपूर
(वीरेन डंगवाल)
अच्छी फोटू , बढ़िया बोल ।
बहुत खूब!
आलोक धन्वाजी की आवाज में यह कविता वीडियो मेरे ब्लॉग पर है। चाहें तो इसे अपने यहां लगा सकते हैं- लिंक ये रहा -http://hindini.com/fursatiya/archives/1745
धन्वा जी का विडियो लगाने से कविता का ये पेज समृद्ध हुआ है । शुक्ल जी को धन्यवाद , आपको भी धन्यवाद ।
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